बिनोद मिल के हर मजदूर को मिलेंगे 2 से 4 लाख रुपए

Binod mill andolan 11 04 22

रंग लाया 31 साल का संघर्ष, जल्द बंटने लगेगी बकाया राशि

उज्जैन, अग्निपथ। बिनोद मिल में काम करने वाले 4 हजार 353 मजदूरों और उनके परिवारों के लिए 31 साल के इंतजार के बाद दीपावली आई है। लंबे संघर्ष के बाद राज्यशासन ने श्रमिकों के बकाया भुगतान के लिए 89 करोड़ 1 लाख रूपए की राशि जारी कर दी है। यह रकम कलेक्टर के माध्यम से कंपनी कोर्ट में जमा कराई गई है। खास बात यह है कि बकाया रकम के साथ ही 13 मई तक का ब्याज भी चुकाया गया है। बिनोद मिल के प्रत्येक मजदूर और उनके परिवारों को 2 से 4 लाख रूपए तक मिलेंगे।

वित्तीय वर्ष 2022-23 में प्रमुख राजस्व आयुक्त के पास से डिक्रीधन के रूप में आकस्मिकता निधि से इस रकम का इंतजाम किया गया है। उज्जैन मिल मजदूर संघ के अध्यक्ष ओम प्रकाश भदौरिया के मुताबिक अब चूंकि कोर्ट में शासन की तरफ से मिल मजदूरों की राशि का भुगतान हो चुका है लिहाजा अब श्रमिकों की तरफ से इस राशि को परिसमापक को ट्रांसफर करने के लिए अपील की जाएगी।

इस बीच सभी श्रमिकों और दिवंगत श्रमिकों के आश्रितों के दस्तावेज एकत्र करने का काम किया जाएगा। जैसे ही यह प्रक्रिया पूरी हो जाएगी, श्रमिकों के बैंक खातों में रकम का स्थानांतरण आरंभ करवा दिया जाएगा। इस पूरी प्रक्रिया में लगभग एक सप्ताह का वक्त लग सकता है।

लंबी रही लड़ाई

  • विनोद मिल के श्रमिकों को 1 जनवरी 1991 से 1 जनवरी 1996 के बीच का पारिश्रमिक नहीं मिल सका था। हाइकोर्ट ने 2019 में दिए एक फैसले में सभी मजदूरों को इस अवधि का 57 करोड़ 24 लाख 94 हजार 583 रूपए का भुगतान करने के निर्देश दिए थे। इस राशि पर 1991 से लेकर 1996 तक तक के 4 प्रतिशत ब्याज और 1996 से भुगतान दिनांक तक के 2 प्रतिशत वार्षिक ब्याज को भी देने के निर्देश दिए थे।
  • तय अवधि में भुगतान नहीं हो पाने की वजह से मिल के श्रमिकों ने संयुक्त रूप से सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर की थी। सुप्रीम कोर्ट ने दो साल की अवधि में राज्यशासन को यह रकम श्रमिकों को देने का निर्णय सुनाया।
  • सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का पालन नहीं हुआ तो श्रमिकों ने फिर से अपील की। कोर्ट ने 30 जुलाई 2021 को छह माह का समय देकर राज्यशासन से श्रमिकों की संपूर्ण राशि मय ब्याज के उन्हें सौंपने के निर्देश दिए थे। इसके साथ ही 10 प्रतिशत रकम के रूप में 9 करोड़82 लाख रूपए शासन को तत्काल जमा कराने को कहा।
  • तय 6 महीने की अवधि बीतने के बाद भी जब शेष रकम का भुगतान नहीं हुआ तो श्रमिक फिर अवमानना याचिका लेकर सुप्रीम कोर्ट पहुंच गए। अवमानना याचिका पर कलेक्टर, राजस्व आयुक्त सहित कई आला अधिकारियों को नोटिस जारी हुए।
  • इसी बीच शासनस्तर पर राजस्व आयुक्त की आकस्मिक निधि से श्रमिकों को बकाया भुगतान करने का निर्णय लिया गया।
  • श्रमिकों की बकाया मूल रकम मय ब्याज के अब बढक़र 89 करोड़ 1 लाख रूपए हो गई है। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के मुताबिक बकाया रकम पर 13 मई 2022 तक का ब्याज जोड़ा गया है।

कलेक्टर से मिलकर जताया आभार

बुधवार को उज्जैन मिल मजदूर संघ का एक प्रतिनिधि मंडल कलेक्टर आशीष सिंह मिलने उनके कार्यालय पर पहुंचा। इस प्रतिनिधि मंडल में मिल मजदूर संघ के अध्यक्ष ओमप्रकाश सिंह भदौरिया, हरिशंकर शर्मा, संतोष सुनहरे, प्रद्योत कुमार चंदेल, लक्ष्मीनारायण रजक आदी शामिल थे। प्रतिनिधि मंडल ने सभी श्रमिकों की तरफ से कलेक्टर को धन्यवाद दिया।

गुरूवार शाम कोयला फाटक पर जुटेंगे सारे श्रमिक

उज्जैन मिल मजदूर संघ के अध्यक्ष ओमप्रकाश सिंह भदौरिया ने बताया कि गुरूवार शाम 5 बजे बिनोद मिल के सभी श्रमिक और दिवंगत श्रमिकों के परिजनों की कोयला फाटक पर सभा का आयोजन किया गया है। इस सभा में श्रमिकों को भुगतान की रकम प्राप्त होने और अगली प्रक्रिया की जानकारी दी जाएगी। संतोष सुनहरे ने सभी श्रमिकों से अपील की है कि वे अपने दस्तावेज एवं प्रमाण पत्र मिल मजदूर संघ के कार्यालय में जमा कराए, ताकि जल्द से जल्द भुगतान की प्रक्रिया को आगे बढ़ाया जा सके।

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