मध्यप्रदेश में कुलपति अब कुलगुरु कहलाएंगे

डॉ. मोहन यादव कैबिनेट की बैठक में फैसला, नई आबकारी नीति को भी मंजूरी

भोपाल। मध्यप्रदेश में विश्वविद्यालयों में कुलपति पद का नाम अब कुलगुरु होगा। करीब सवा साल पुराने इस फैसले पर मंगलवार मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की कैबिनेट ने मंजूरी दे दी। इसके साथ ही अगले वित्तीय वर्ष के लिए नई आबकारी पॉलिसी को भी मंजूर किया गया है। कैबिनेट में कई अन्य विषयों सहित कल विधानसभा में पेश किए जाने वाले अनुपूरक बजट और अंतरिम बजट (लेखानुदान) पर भी चर्चा हुई।

कैबिनेट ने अगले वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए नई आबकारी पॉलिसी को मंजूर किया है। इसके तहत पिछली बार के ठेका मूल्य से 15 प्रतिशत अधिक पर इस बार शराब दुकानों की नीलामी होगी। कुल दुकानों का 75 प्रतिशत शराब दुकानों के ठेकेदार रिन्यूअल के लिए तैयार होने पर ही फिर से दुकान आवंटित की जाएगी। अगर ऐसा नहीं होता होता है तो शराब दुकानों की फिर से नीलामी होगी। इसके अलावा धार्मिक स्थलों और शैक्षणिक स्थलों शराब दुकानों की दूरी पहले की तरह निर्धारित रहेगी।

कुलपति अब कुलगुरु कहलाएंगे

कैबिनेट ने विश्वविद्यालय संशोधन अधिनियम के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। विश्वविद्यालय के कुलपति अब कुलगुरु कहलाएंगे। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शिवराज सरकार में उच्च शिक्षा मंत्री रहने के दौरान 8 दिसंबर 2022 को हुई बैठक में यह फैसला लिया था। तब तय हुआ था कि विश्वविद्यालयों के प्रमुख कुलपति पद का नाम बदला जाएगा। उन्होंने फैसले पर राज्यपाल मंगुभाई पटेल की सहमति मिलने के बाद कहा था कि कुलपति नाम पर लोग मजाक उड़ाते हैं, इसलिए गुरुजनों के सम्मान वाली हमारे देश की संस्कृति के हिसाब से अब कुलपति का नाम कुलगुरु किया जाएगा।

जल्द ही कैबिनेट में प्रस्ताव लाकर उसे मंजूरी दी जाएगी। हालांकि, तब इस फैसले को अमली जामा नहीं पहनाया जा सका था और सवा साल तक यह प्रस्ताव कैबिनेट में नहीं आ पाने से आदेश रूप में नहीं बदल पाया था।

बजट सत्र के पहले अनुपूरक बजट को मंजूरी

बुधवार से सोलहवीं विधानसभा का बजट सत्र शुरू होने वाला है। इस सत्र में सरकार फरवरी और मार्च माह के वित्तीय खर्च के लिए अनुपूरक बजट लाने वाली है। कैबिनेट बैठक में अनुपूरक बजट को मंजूरी दी गई है। इसके अलावा अप्रैल से जुलाई तक के आय-व्यय के लिए आने वाले अंतरिम बजट पर भी कैबिनेट में मंजूरी दी गई है।

किसानों को मिलेगा शून्य फीसदी पर कर्ज

इसी के साथ कैबिनेट में फैसला लिया गया है कि किसानों को हर साल की तरह इस बार भी शून्य फीसदी ब्याजदर पर कर्ज दिया जाएगा। इसी के साथ प्रदेश में बाल संरक्षण इकाई द्वारा हेल्पलाइन सेवा शुरू करने का फैसला भी लिया गया।

सीएम ने कैबिनेट को दी पीएम के एमपी दौरे की जानकारी

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मंत्री परिषद की बैठक से पहले अपने संबोधन में कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11 फरवरी को झाबुआ आ रहे हैं। हमारी तथा पूर्व मुख्यमंत्री चौहान की सरकार ने जनजातीय क्षेत्रों में विकास और जन कल्याण के जो कार्य किए हैं, उन्हें आजादी के अमृत काल में वृहत्तर स्वरूप में आरंभ करने का संकल्प लेने के लिए वहां भव्य आयोजन होगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि लेखानुदान आने वाला है, जिसके माध्यम से हम भविष्य का रोड मैप तय करेंगे। प्रधानमंत्री ने जनजातीय क्षेत्रों में आयुर्वेदिक, होम्योपैथी, नेचुरोपैथी चिकित्सा सुविधा के विस्तार के संबंध में जो दिशा-निर्देश दिए हैं उनके अनुरूप आयुष विभाग के माध्यम से योजना क्रियान्वित की जाएगी।

Next Post

एचडीयू-पीआईसीयू और जनरल वार्ड में स्टाफ की कमी से ताले लगे

Tue Feb 6 , 2024
माधव नगर हास्पीटल में फिर से 100 बेड का अस्पताल बनाने की तैयारी उज्जैन। मप्र में स्वास्थ्य विभाग के अस्पतालों की व्यवस्थाएं चरमराई हुई हैं। इसका कारण स्टाफ की कमी होना सामने आया है। वर्षों से इसी तरह प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्थाएं लडख़ड़ाकर चल रही हैं। स्वास्थ्य विभाग द्वारा अस्पतालों […]