एक सदी पुरानी परंपरा टूटी, नहीं हुआ सोमेश्वर महादेव का नगर भ्रमण

आस्था पर आघात: पुलिस के पहरे में मंदिर परिसर में ही बैठ जाने प्रजा के हाल

बडऩगर, अग्निपथ। शासन-प्रशासन की मनमानी से आखिरकार सावन के दौरान शहर में महादेव के नगर भ्रमण की एक सदी पुरानी परंपरा रविवार को टूट गई। कोरोना महामारी की तीसरी लहर का डर दिखाकर कलेक्टर के फरमान के आधार पर पुलिस का पहरा लगााकर प्रशासन ने सोमेश्वर महादेव की सवारी नहीं निकलने दी। बाबा सोमेश्वर ने मंदिर परिसर में ही बैठकर प्रजा के हाल जाने। यही हाल सावन के आखिरी सोमवार को त्र्यंबकेश्वर महादेव की सवारी के वक्त भी रहा।

प्रशासन के इस कथित तानाशाह रवैये के विरुद्ध लोगों ने आवाज भी उठाई। पुलिस अधिकारियों से इसको लेकर वाद-विवाद भी हुआ और भक्तों ने राजनैतिक रैलियां निकालने का हवाला भी दिया लेकिन कोई असर प्रशासन पर नहीं हुआ। दरअसल, कोरोना के डर से सवारी पर प्रतिबंध लगाने का दौर इस साल एक सप्ताह पहले ही प्रशासन ने शुरू किया।

सावन के दो सोमवार को तो परंपरागत तरीके से नगर के शिवालयों में विराजित सोमेेश्वर महादेव, त्र्यंबकेश्वर महादेव, मंगलेेश्वर व बुद्धेेश्वर महादेव की सवारियां नगर में क्रमश: रविवार, सोमवार, मंगलवार और बुधवार को निकली। तीसरे सप्ताह रविवार को सोमेश्वर महादेव की सवारी निकलने से ठीक पहले प्रशासन ने महादेव के नगर में तय मार्ग पर भ्रमण पर रोक लगाने के अलावा मंदिर के आसपास ही सवारी निकालने की अनुमति दी। तीसरे सप्ताह चारों महादेव मंदिर परिसर के आसपास ही भ्रमण कर लौट आए।

बैठक लेकर दायरा कम करने को कहा, सवारी निकलने के पहले लगा दी रोक

स्थानीय प्रशासन ने बाद में चारों महादेव मित्र मंडलों के पदाधिकारियों व अन्य गणमान्य नागरिकों की बैठक लेकर मंदिर के आसपास भ्रमण का दायरा भी कम कर सिर्फ 50 मीटर तक सिमटाने का फरमान सुनाया। इस हिसाब से सवारी निकलती उसके पहले ही कलेक्टर का लिखित आदेश दिखाकर हाल ही में सवारी या अन्य चलसमारोह निकालने की सारी अनुमति रद्द कर दी गई। सिर्फ मंदिर परिसर में ही डोल सजाकर रखने को कहा गया।

जिसके चलते सावन के आखिरी सप्ताह में चारों महादेव की सवारी के साथ ही भादौ मास के पहले सोमवार को निकलने वाली सामूहिक सवारी की एक सदी पुरानी परंपरा भी टूट गई लगती है। गौरतलब है कि पिछले साल भी कोरोना काल में सवारियां निकालने और सामूहिक सवारी की अनुमति प्रशासन ने दी थी।

टीआई बोले- मैंने बुरा किया तो मेरे साथ बुरा होगा

रविवार को सोमेेश्वर महादेव के नगर भ्रमण पर रोक के बाद एक भक्त थाना प्रभारी मनीष मिश्र से बहस करने लगा कि सुबह नगर में दो राजनीतिक संगठनों द्वारा रैली निकाली गई तो आपने रोक नहीं लगाई। फिर भोलेनाथ के नगर भ्रमण पर रोक क्यों? इस पर टीआई मिश्रन ने भावुक अंदाज में कहा कि प्रशासन के निर्देशों का पालन करा रहा हूं। यदि मैंने सवारी रोककर बुरा किया तो मेरे साथ बुरा होगा। जिसके बाद खामाशी छा गई।

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