अमेरिका में अराजकता के युग की शुरुआत

वर्तमान में दुनिया के सबसे विकसित देश का खिताब वाले अमेरिका के पास दुनिया की कुल संपत्ति का 40 प्रतिशत हिस्सा है। यू.एस.ए. संयुक्त राज्य अमेरिका में 50 राज्य, एक फ्रेडरल ड्रिस्टिक्ट, 5 स्व. शासनी है। 32 करोड़, 57 लाख 93 हजार की जनसंख्या वाले अमेरिका का कुल क्षेत्रफल 98 लाख 61 हजार 923 वर्ग किलोमीटर है। कुल क्षेत्रफल के हिसाब से दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा देश और भूमि क्षेत्रफल के मान से दुनिया का चौथा सबसे बड़ा क्षेत्र है। संयुक्त राज्य अमेरिका आज अत्याधिक विकसित देश है। संसार की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था और क्रय शक्ति क्षमता अनुसार दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाला देश है। आबादी के मान से देखे तो कायनात पर मनुष्यों की कुल 750 करोड़ आबादी का मात्र 4.3 प्रतिशत मानव जाति ही यहाँ पर निवास करती है जिसमें 70.6 प्रतिशत ईसाई, 1.9 प्रतिशत यहूदी, 0.9 प्रतिशत मुस्लिम, 0.7 प्रतिशत हिंदू, 0.7 बौद्ध और 22.8 प्रतिशत आबादी ऐसी है जो किसी धर्म को नहीं मानती है और उसे अत्याधुनिक वर्ग का नाम दिया गया है। 89.7 मिलियन (आठ करोड़ 97 लाख) कुत्तों वाले देश अमेरिका का राष्ट्रीय पक्षी बाज है। अमेरिकी संसद को काँग्रेस कहा जाता है। अमेरिका के एक शहर मोहाना में मनुष्यों की आबादी से 3 गुना अधिक पशु है।
संसार में चर्चित स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी की मूर्ति 4 जुलाई 1776 में फ्राँस ने उसे भेंट की थी। महाशक्ति ने 1867 में रूस से पूरा अलास्का राज्य ही खरीद लिया था 70.2 लाख डालर में। अमेरिका में फ्रेकलिन डी रूजवेल्ट 4 बार राष्ट्रपति रहकर इतिहास रच चुके हैं। वैज्ञानिक अनुसंधान और तकनीकी नवाचार और आर्थिक सैन्य शक्ति में अग्रणी अमेरिका के बजट का एकतिहायी (१/३) सैन्य खर्च में जाता है। अमेरिका की उत्पति 27000 वर्षों पूर्व जब पृथ्वी पर हिमयुग था तब अमेरिका की भूमि पर कोई मानव जाति नहीं थी आज का रूस और अमेरिका के बीच एक समुद्र जिसे बेरिंग समुद्र कहते हैं वह अमेरिका और रूस को विभाजित करता था। रूस के साइबेरिया में जरूर कुछ मंगोलियाई आदिवासी रहा करते थे। एक बार लघु हिमपात के कारण अमेरिका और रूस के बीच बेरिंग समुद्र में ठोस हिमखडों के कारण सेतु बन गया। मंगोलियाई आदिवासी चूँकि विषम परिस्थिति में जीवन यापन कर रहे थे अत: वह हिमखंडों पर चलकर रूस से अमेरिका की धरती पर पहुँच गये जहाँ उन्हें भूमि के मैदान, पहाड़ सब मिले जो उनके मनमाफिक थे और उन्हें एक नई दुनिया नजर आयी और यह आदिवासी वहीं बस गये।
दुर्भाग्यवश 12 अक्टूम्बर 1492 में स्पेन से भारत की खोज में निकला हुआ कोलम्बस क्रिस्टोफर अमेरिका की इस धरती पर पहुँच गया। चूँकि आदिवासी लाल कलर के होते थे तो कोलंबस ने भारत के भ्रम में उन आदिवासियों को रेड इंडियन का नाम दे दिया। जाते वक्त वह अमेरिका की धरती से 6 आदिवासियों को बंधक बनाकर स्पेन ले गया। दूसरी बार 40 जहाजों के साथ फिर अमेरिका आया और इस बार 300 मंगोलियाई आदिवासियों को साथ लेकर स्पेन की रानी के सामने पेश किया और बताया कि यह रेड इंडियन है और मैंने भारत (इंडिया) खोज लिया है। कोलंबस के झूठ का पर्दाफाश 20 मई 1498 में हुआ जब वास्कोडिगामा जो पुर्तगाली नौसेना का कमांडर था उसने भारत के केरल राज्य के कालीकट बंदरगाह पर कदम रखा, तब दुनिया को पता पड़ा भारत कहाँ है। कोलंबस द्वारा अमेरिका की खोज के बाद स्पेन, फ्रांस, यूरोप के लोग अमेरिकी धरती पर बसने लगे और उन्होंने मंगोलियाई आदिवासियों की जमीनों पर कब्जे कर लिये। बेचारे आदिवासियों को पता ही नहीं था ब्रिटेन के लोगों ने तो अमेरिका पर कब्जा ही कर लिया था क्योंकि उस समय ग्रेट ब्रिटेन सुपर पावर था। ब्रिटेन ने 4 जुलाई 1776 को अमेरिका को आजाद किया, जिसे 3 दिसंबर 1783 में मान्यता मिली। अमेरिका शुरू से ही भारतीयों के प्रति मैत्री भाव नहीं रखता है। यह इतिहास बताता है। 1848-49 के दौरान कैलिफोर्निया के अमेरिका में विलय पश्चात रेलमार्ग विस्तार के लिये भारतीयों की 4 करोड़ भैंसों को मार डाला गया उनकी चमड़ी और माँस भी अमेरिकी खा गये। यह पशुधन हानि भारतीयों के लिये आर्थिक संसाधन और सांस्कृतिक हानि भारतीयों के आघातकारी सिद्ध हुई।
अमेरिका का भाग्योदय बीसवीं सदी में पहले विश्वयुद्ध के बाद हुआ। इस विश्वयुद्ध के बाद ग्रेट ब्रिटेन के साथ यूरोप, जर्मनी, फ्रांस की आर्थिक कमर टूट गई और कल कारखाने बंद हो गये। तब अमेरिका ने अपने दरवाजे खोल दिये। सारे कल कारखाने अमेरिका जाकर स्थापित हो गये अमेरिका ने दुनिया भर के बुद्धिजीवियों को भी नागरिकता के लिये आमंत्रित किया। अमेरिका की प्राचीन सम्यता तो कृषि आधारित ही थी। आज के अमेरिका में 99 प्रतिशत लोग बाहर के हैं और जो वहाँ के मूल निवासी मंगोलियाई आदिवासी हैं उनकी जनसंख्या का प्रतिशत 0.05 प्रतिशत है जिन्हें रेड इंडियन कहा जाता है।
गुरुवार को अमेरिकी संसद में ट्रंप समर्थकों का हमला, सुरक्षाकर्मियों द्वारा संसद भवन परिसर में गोलाबारी से चार की मौत अराजकता के एक नये युग की शुरुआत अमेरिका में हो चुकी है जो भविष्य में और भयावह होगी। जिस तरह अमेरिका ने रूस के खंड-खंड किये हैं उसी डगर पर अमेरिका आ चुका है। सूर्य का उदय अस्त होने के लिये होता है और जैसे किसी वक्त संसार पर राज करने वाले ब्रिटेन का सूर्य अस्त हो चुका है जिसका आज बुरा हाल है उसी तरह अमेरिका का सूर्य भी अस्ताचल की ओर है।

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