दोहरा हत्याकांड: पत्नी और बेटी की हत्या के बाद खुद को मारा चाकू

दरवाजा बंद कर 2 बेटों ने बचाई जान, सुबह गांव में फैली सनसनी

उज्जैन, अग्निपथ। पत्नी और बेटी की रात में हत्या करने के बाद बुधवार सुबह रिश्तेदार पहुंचे तो पति ने खुद को चाकू मार लिया। घटनाक्रम की खबर से गांव में सनसनी फैल गई। पुलिस ने घायल को जिला अस्पताल पहुंचाया और मां-बेटी का शव बरामद कर जांच शुरु की।

नरवर थाना क्षेत्र के ग्राम टंकरिया में मंगलवार-बुधवार रात औंकारलाल पिता भागीरथ नरवरिया (45) ने पत्नी ताराबाई (40) से विवाद होने के बाद चाकू से हमला कर दिया। ताराबाई की आवाज सुनकर बेटी रवीना (14) आई तो औंकारलाल ने उसे भी चाकू मार दिये। मां-बेटी को चार से पांच चाकू लगने पर दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। मां और बहन का शोर सुनकर बेटे मोहित (8) और अंकित (10) आए तो उन्हे भी मारने का प्रयास किया गया। दोनों ने अपनी जान कमरे का दरवाजा बंद कर बचाई।

रातभर औंकारलाल पत्नी और बेटी की लाश के पास ही बैठा रहा। सुबह जब उसके घर का दरवाजा काफी देर तक नहीं खुला तो सामने रहने वाले रिश्तेदारों ने खटखटाया, आवाज सुनकर औंकारलाल ने खुद को चाकू मार लिया। कमरे में बंद दोनों बेटों ने काका मुकेश की आवाज सुनी तो अपने कमरे का दरवाजा खोलकर बाहर आए और घर का मेन दरवाजा खोला। रिश्तेदार ने घटनाक्रम देखा तो शोर मचाया। सुबह 9 बजे गांव के सरपंच पति ने पुलिस को सूचना दी।

औंकारलाल को किया इंदौर रैफर

सूचना मिलने पर नरवर टीआई संजय मंडलोई टीम के साथ मौके पर पहुंचे। जांच के एफएसएल टीम को बुलाया गया। वहीं घायल औंकारलाल को जिला अस्पताल पहुंचाया। जहां से उसे डॉक्टरों ने इंदौर रैफर किया है। टीआई मंडलोई के अनुसार जांच में मृतक महिला के दोनों बेटों ने रात को हुए घटनाक्रम की जानकारी दी। दोनों के बयान दर्ज कर मामले में औंकारलाल के खिलाफ दोहरी हत्या करने का केस दर्ज किया गया है।

गांव में फैली सनसनी, लगी भीड़

सुबह जैसे मां-बेटी की हत्या होने का पता चला गांव में सनसनी फैल गई। लोगों की भीड़ औंकारलाल के घर के बाहर जमा हो गई। लोगों का कहना था कि पहली बार ऐसी घटना गांव में होना सामने आई है। औंकारलाल का मानसिक संतुलन ठीक नहीं था, उसकी 2 साल से हालत बिगड़ी हुई थी। वह घर में विवाद करता था, लेकिन ऐसी घटना को अंजाम देगा, पता नहीं था।

दतोत्तर की रहने वाली थी ताराबाई

मृतिका ताराबाई विजयागंज मंडी दतोत्तर की रहने वाली थी। उसका विवाह औंकारलाल से 20 वर्ष पहले हुआ था। पति खेती किसानी का काम करता है। उसके पास करीब 12 बीघा जमीन है। ताराबाई के मायके खबर पहुंची तो परिजन जिला अस्पताल पहुंच गये थे। जहां मां-बेटी का शव देख बिलख पड़े। रिश्तेदारों ने बमुश्किल संभाला।

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